इंसान बनना चाहता हूँ !!! मैं बेधड़क बेडर लहर बनकर समुंदर में तैरना चाहता हूँ; मैं बारिश की बूँद बनकर पत्तों कि बाँहों में सोना चाहता हूँ ! मैं जीत के जश्न में छलकने वाली शराब बनना चाहता हूँ , जो तुम्हे जीत के लिए जागाये रखे वो ख्वाब बनना चाहता हूँ !! मैं भ्रष्टाचार ,गरीबी को मिटने वाला तूफ़ान बनना चाहता हूँ , जहाँ हर दुःख दर्द मिट जाए वो दवाई कि दूकान बनना चाहता हूँ !!! मैं जात पात और दंगो से परे धर्मनिरपेक्ष देश बनाना चाहता हूँ , मैं धर्म के नाम पर लड़ने वालों के बीच प्रेम का सन्देश बनना चाहता हूँ !!!! यह सब मुश्किल है शायाद बस में अब मैं यही दुआ करना चाहता हूँ , और कुछ बनू ना बनू नेक काम करकर अच्छा इंसान बनना चाहता हूँ !!!!!
My poems are for everyone who understands basic hindi. I never use words which are difficult to understand. I use the words that are used are in day to day conversation and make it a point that while writing them I use them and make an impact.